उपभोक्ता अधिकारों पर जागरूकता ही सशक्त समाज की नींवराष्ट्रीय उपभोक्ता दिवस पर सहारनपुर में विचार गोष्ठी व सम्मान समारोह

सहारनपुर में राष्ट्रीय उपभोक्ता दिवस के अवसर पर उपभोक्ता अधिकारों को लेकर एक प्रभावशाली और विचारोत्तेजक कार्यक्रम का आयोजन किया गया। यह कार्यक्रम के तत्वावधान में , जनक नगर, सहारनपुर में संपन्न हुआ। कार्यक्रम का उद्देश्य उपभोक्ताओं को उनके अधिकारों, कानूनी संरक्षण और जिम्मेदारियों के प्रति जागरूक करना रहा।

डिजिटल युग में भी अधिकारों से अनभिज्ञ उपभोक्ता

कार्यक्रम की मुख्य वक्ता संगठन की राष्ट्रीय महासचिव ने अपने ओजस्वी संबोधन में कहा कि आज का दौर सूचना और तकनीक का है, इसके बावजूद उपभोक्ता अपने अधिकारों के प्रति उदासीन बना हुआ है। यही उदासीनता शोषण को बढ़ावा देती है।
उन्होंने उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम और उससे जुड़े कानूनी पहलुओं को सरल और व्यावहारिक भाषा में समझाते हुए कहा कि यदि उपभोक्ता अपने अधिकारों को पहचान ले, तो न्याय उसके दरवाज़े तक स्वयं पहुंच जाता है। उनके सशक्त तर्क, स्पष्ट सोच और जनहितकारी दृष्टिकोण को गोष्ठी में मौजूद श्रोताओं ने भरपूर सराहा।

भ्रामक विज्ञापनों से सतर्क रहने की अपील

कार्यक्रम की मुख्य अतिथि सुप्रीम कोर्ट की अधिवक्ता ने कहा कि उपभोक्ता हितों के प्रभावी संरक्षण के लिए प्रत्येक जिले में स्वैच्छिक और जनआंदोलन खड़ा करना समय की आवश्यकता है। उन्होंने विशेष रूप से भ्रामक विज्ञापनों के बढ़ते खतरे की ओर ध्यान दिलाते हुए उपभोक्ताओं से सजग रहने की अपील की।

संगठन की भूमिका और शिक्षा की जरूरत

विश्व उपभोक्ता संगठन भारत के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने संक्षेप में कहा कि जागरूक उपभोक्ता ही शोषण के खिलाफ सबसे बड़ा हथियार है।
कार्यक्रम की अध्यक्षता स्कूल की प्रधानाचार्य ने की। उन्होंने कहा कि यदि उपभोक्ता संरक्षण की शिक्षा विद्यालय स्तर से ही दी जाए, तो आने वाली पीढ़ी अधिक जागरूक और जिम्मेदार बनेगी।

नए पदाधिकारियों का मनोनयन व सम्मान

गोष्ठी से पूर्व दिल्ली से पधारीं अधिवक्ता बबीता झा, जिन्हें संगठन की राष्ट्रीय महासचिव मनोनीत किया गया, तथा राष्ट्रीय अध्यक्ष असगर आलम का महानगर अध्यक्ष अरशद जमाल, महासचिव आरिफ खान, उपाध्यक्ष आदिल खान और सचिव अनुज गोयल ने माल्यार्पण व पुष्पगुच्छ देकर स्वागत किया।
इस अवसर पर डॉ. यासमीन राव एडवोकेट को उत्तर प्रदेश का चेयरपर्सन तथा साजिद सिद्दीकी (मुजफ्फरनगर) को उत्तर प्रदेश का वाइस चेयरमैन मनोनीत किया गया। सभी नवनियुक्त पदाधिकारियों को मनोनयन पत्र, आईडी कार्ड और सम्मान पत्र प्रदान कर सम्मानित किया गया।

निष्कर्ष

कार्यक्रम ने यह स्पष्ट कर दिया कि उपभोक्ता अधिकार केवल कानून की किताबों तक सीमित नहीं होने चाहिए, बल्कि उन्हें जन-जन तक पहुंचाना आज की सबसे बड़ी आवश्यकता है। जागरूकता, शिक्षा और संगठित प्रयास ही उपभोक्ता को सशक्त बना सकते हैं।


"समझो भारत" राष्ट्रीय समाचार पत्रिका के लिए
सहारनपुर, उत्तर प्रदेश से पत्रकार गुलवेज़ आलम की खास रिपोर्ट

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