डॉ. अरुण राय के संरक्षण में शामली में फल फूल रहा है नशीली टेबलेट का कारोबार नशा मुक्ति केंद्र की आड़ में चल रहा है नशीली दवाओं का गोरखधंधा नशीली दवाओं के कारोबार का करनाल पुल बिडोली रिग नशा मुक्ति केंद्र प्रमुख अड्डा : डॉ अरुण राय सप्ताह में 6 दिन शामली अपने क्लीनिक पर देते हैं ओपीडी

 


बिडोली वाले नशा मुक्ति केंद्र पर जो अपनी डिग्री ऊपर संचालित है कैसे और कब देते हैं सेवा इतना ही नहीं एक पैरामेडिकल कॉलेज में भी डॉक्टर साहब ने लगाए हैं अपनी डिग्री के डॉक्यूमेंट

शामली क्लीनिक बिडोली नशा मुक्ति केंद्र की सीसीटीवी फुटेज वेट डॉक्टर की मोबाइल लोकेशन के आधार पर होनी चाहिए डॉक्टर की जांच

ड्रग्स के आदि मरीज करते हैं इन नशीली दवाओं का इस्तेमाल 

इन नशीली दवाओं का कारोबार जनपद में ही नहीं आसपास के जनपदों के साथ-साथ हरियाणा और पंजाब तक फैलाए कारोबार

आपको बता दें कि आजकल जनपद शामली भी नशीली दवाओं के कारोबार को लेकर चर्चाओं में है यहां एक बार पंजाब इन नशीली दवाओं के सेवन एवं बिक्री एवं तस्करी के लिए चर्चा में था जिसको लेकर उड़ता पंजाब नाम से एक फिल्म भी बनी थी आज यदि उसी बात को सच मानें तो और कहा जाए उड़ता शामली यह भी झूठ नहीं होगा डॉ अरुण राय  शामली के मुजफ्फरनगर रोड पर अपना क्लीनिक चलाते हैं के संरक्षण में जनपद शामली में फल-फूल रहा है नशीली टेंपलीटों का कारोबार डॉक्टर द्वारा अपनी डिग्री के आधार पर करनाल रोड करनाल के पुल के पास बिरौली में एक नशा मुक्ति केंद्र खोल रखा है जिस का संचालन एक


दसवीं पास टरबाइन ऑपरेटर वह पकौड़े चलने वाला कर रहे हैं वहां से ऐसी नशीली दवाओं का कारोबार किया जा रहा है जो सही मायने में नशे को रोक कि नहीं नशे का काम करती है जो ड्रग्स के आदि मरीज हैं टेबलेट का इस्तेमाल करते हैं डॉक्टर ओपीडी को जाता नहीं और पकौड़े चलने वाले व टरबाइन ऑपरेटर ही मरीजों को हजारों की संख्या में बेचते हैं टेबलेट इतना ही नहीं कोरियर एवं स्पीड पोस्ट है इनकी तस्करी का प्रमुख जरिया इसी से दवाई मंगाई जाती है और इसी से सप्लाई भी की जाती है यदि जानकार सूत्रों की खबरों को सच माने तो विदेशों तक भी कोरियर से भेजी जाती है नशीली दवाएं जनपद के आसपास ही नहीं लंबे क्षेत्र में फैला है इनका नेटवर्क इनके दो मास्टरमाइंड मेरठ एक डॉक्टर दिल्ली में बैठकर करता है पूरे  गैंग को ऑपरेट इतना ही नहीं बड़े पैमाने पर नशा मुक्ति केंद्र द्वारा की जा रही है जीएसटी चोरी भी आए दिन नए नए नामों से कंपनी बनाकर मार्केटिंग बाय कर नशीली दवाओं का किया जा रहा है कारोबार अब यदि उक्त प्रकरण के विषय में सही जांच की

जाए तो डॉ  राय के मोबाइल लोकेशन एवं सीसीटीवी फुटेज क्लीनिक व नशा मुक्ति केंद्र के कर सकते हैं बड़ा खुलासा मात्र ₹8 सेट पैसे की कि यार पड़ी इस टैबलेट को उक्त नशीली के कारोबारी ₹40 से लेकर ₹60 तक भेजते हैं उनकी टैबलेट का कारोबार जान गांव-गांव में अर्जेंट छोड़े गए हैं वहीं करनाल रोड स्थित अनेकों होटलों पर भी चलता है इनका कारोबार सबसे बड़ा दुर्भाग्य तो यह बिडोली चेक पोस्ट यूपी पुलिस की आंखों के सामने ही खुलेआम चल रहा है नशे का कारोबार दूसरा जितना कि पुलिस की आंखों में धूल झोंकने के लिए दो बार सेंटर पर कर चुके हैं चोरी की नौटंकी भी अब यदि इनके ही एक मरीज दुख की बातों को सच माने तो उसे नाम न छापने की शर्त पर बताया कि मात्र एक तरह की टेबलेट से ही किया जाता है ट्रीटमेंट का दिखावा केवल टेबलेट एमजी कम या अधिक की है आप किसी वक्त जाइए और कितनी भी टेबलेट लीजिए और कुछ नहीं और सेंटर भी 7 दिन खुलता है मात्र 2 दिन बंद रखने की होती है नौटंकी बराबर में धर्मकांटा एवं पुलिस चेक पोस्ट के सामने बनी पकौड़ी की दुकान से होती है नशीली दवाओं का कारोबार अब देखना यह होगा कि नशे का यह कारोबार अधिकारियों के संरक्षण एवं डॉक्टरों की सांठगांठ के चलते यह कब तक चल पाता है या लगेगी इस पर रोक एक बार कारण एसडीएम कि नशे के प्रति चलाई गई मुहिम के चलते उड़े थे सेंटर चल संचालकों के होश तब से लेकर आज तक ड्रग्स इंस्पेक्टर

सीएमओ और यहां तक कि पुलिस विभाग को भी मोटी रकम दिया जाने का संचालक करता है दवा संचालक की बातों को सच माने तो लगता है कि जैसे पूरा ही सिस्टम उक्त नशे के कारोबार में लिप्त हो इतने बड़े पैमाने पर पुलिस की नाक के नीचे मां की चौकी से चंद कदमों की दूरी पर चल रहा है इतना बड़ा गोरखधंधा और प्रशासन बना अंधा कोई हजम नहीं होता ऐसा प्रतीत होता है कि पूरा सिस्टम ही आपस में मिला हुआ है या पूरा सिस्टम ही आपस में मिल जाए तो ऐसे में किस से आस लगाई जा सकती है कि अब कुछ सुधरेगा लेकिन फिर भी उम्मीद का दामन छुड़ा नहीं जा सकता और अपने कर्म से मुंह मोड़ा नहीं जा सकता तो इसलिए उम्मीद है कि एक न एक दिन जनपद शामली को उठता शामली बचाने के लिए कोई ना कोई अधिकारी कर्मचारी आगे आएगा और इस दवा के नशीले कारोबार को जो डॉक्टर अरुण के संरक्षण में जनपद शामली संचालित है हाथ में तक पहुंचा है घर आने वाली युवा पीढ़ी को नशे की बचाएगा लेकिन यह तो आने वाला समय ही बताएगा

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