परियोजना कार्यालय को दुकान बनाने के चलते एक बार फिर जिला कार्यक्रम अधिकारी व बबीता चौधरी आमने सामने : जिला कार्यक्रम अधिकारी शामली का एक और बड़ा कारनामा


जिला कार्यक्रम अधिकारी शामली संतोष कुमार श्रीवास्तव पर उत्तर प्रदेश आंगनबाड़ी कर्मचारी संघ के प्रदेश महामंत्री बबीता चौधरी एवं परियोजना अध्यक्षों द्वारा आरोप लगाते हुए बड़ा खुलासा किया गया कि जनपद की प्रत्येक आंगनबाड़ी कार्यकत्री के अकाउंट में ₹650 प्रति केंद्र आए थे जिनसे आंगनबाड़ियों को अपने केंद्र के लिए आवश्यक सामग्री खरीदनी थी लेकिन  भ्रष्ट जिला कार्यक्रम अधिकारी संतोष कुमार श्रीवास्तव द्वारा व उनके इस भ्रष्टाचार में साथ दे दीजिए बाल विकास परियोजना

अधिकारी एवं मुख्य सेविकाओं द्वारा आंगनवाड़ी का अकाउंट में पैसा भी बर्दाश्त नहीं हुआ और उन्होंने स्वयं ही सामग्री खरीद कर आंगनबाड़ियों को घटिया क्वालिटी की सामग्री बेचना शुरू कर दिया आंगनबाड़ियों का तो यहां तक कहना है कि टोटल सामग्री लगभग ₹200 से ज्यादा की नहीं है  जिसके लिए आंगनवाड़ी से सीडीपीओ सुपरवाइजर डीपीओ के इशारे पर  ₹650 वसूल रहे हैं और घटिया क्वालिटी की सामग्री दे रहे हैं

जिला कार्यक्रम अधिकारी बाल विकास परियोजना अधिकारी व मुख्य सेवकों के भ्रष्ट पर्वती उजागर होती है लेकिन हो भी क्या जा प्रकरणों में उच्च अधिकारी भी इन का साथ देते हैं कहने को तो मात्र लगभग साडे ₹400 प्रति केंद्र से अवैध उगाही है लेकिन लेकिन जब जनपद में  कार्यरत  आंगनबाड़ियों की संख्या कैलकुलेशन की जाती है तो लगभग 500000 की अवैध उगाही बैठती है यह कोई पहला प्रकरण नहीं जब जिला कार्यक्रम अधिकारी संतोष कुमार श्रीवास्तव का भ्रष्टाचार में नाम आया हूं

भर्ती प्रक्रिया तरह-तरह से आए दिन नए नए बहाने बनाकर आंगनवाड़ी उसे अवैध उगाही का इसमें भरपूर रूप से उनका साथ देने में प्रभारी बाल विकास परियोजना अधिकारी और मुख्य सेविकाओं ने जमकर साथ दिया है ऐसा नहीं कि उनकी शिकायतें नहीं की गई समय-समय पर भी शिकायतें जनपद कुछ अधिकारियों के साथ-साथ लखनऊ तक भी की गई लेकिन अपने भ्रष्ट पार्वती के चलते उच्च अधिकारियों का ले देकर मुंह बंद कर देता है लेकिन फिर भी हर बार जिला कार्यक्रम अधिकारी को मुंह की खानी पड़ी है

क्योंकि जब जामुन के द्वारा भ्रष्टाचार को जनपद में बढ़ावा दिया जाए तब तक उनका विरोध उत्तर प्रदेश आंगनवाड़ी कर्मचारी संघ ने  मजबूती से किया है जिसका जीता जागता उदाहरण है कि उसके विरूद्ध कोई कार्रवाई नहीं होती ऐसे में एक बार फिर अब देखना होगा कि इतने बड़े पैमाने पर बाल विकास परियोजना अधिकारियों को बना दिया दुकानदार इन दुकानदारों पर होगी कार्रवाई यह तो आने वाला समय ही बताएगा लेकिन आता है

कि यदि समय रहते पूर्व में भ्रष्ट अधिकारी पर हो गई होती कार्रवाई तो आज यह दिन देखना पड़ता अब भी लगता नहीं कि इसके बाद पर कोई कार्रवाई होगी क्योंकि कार्रवाई को रोकना बखूबी जानते हैं जिला कार्यक्रम अधिकारी शामली संतोष कुमार  श्रीवास्तव लेकिन फिर भी उत्तर प्रदेश आंगनवाड़ी कर्मचारी संघ के प्रदेश महामंत्री बबीता चौधरी ने मुख्यमंत्री से ऑनलाइन शिकायत कर इंसाफ की गुहार लगाई है अब देखना यह होगा कि क्या आंगनवाड़ी को इंसाफ मिलता है या फिर इसी तरह बाल विकास परियोजना कार्यालय बन जाएंगे परचून की दुकान यह तो समय ही बताएगा लेकिन इतना तय है कि आज विभाग में भ्रष्टाचार सभी सीमा को पार कर चुका है।

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