सूर्य ग्रहण पर अब दान लेने वालों की टोलिया और गली मोहल्ले में महिलाओं द्वारा गुनगुनाते गीतों का शोर भी दिखाई नहीं पड़ता। ग्रहण काल के वक्त अद्भुत प्रकाश ने जन समुदाय को प्रभु स्मरण की याद दिलाई

झिंझाना 21 जून।।
 सूर्य ग्रहण पर आज दोपहर में बादलों के साथ अद्भुत प्रकाश नजर आया। जिसे युवा एवं सभी वर्ग के लोगों ने अपने अपने माध्यम से दर्शन करने का प्रयास किया। ग्रहण काल के दौरान और रविवार में बाजार बंद होने के चलते पसरे सन्नाटे के बीच एक अद्भुत नजारा जन समुदाय को प्रभु स्मरण की याद दिला रहा था।

    परंपरा के अनुसार किसी भी ग्रहण काल के दौरान बाल्मीकि समाज धर्म करो , धर्म करो की दुहाई करते हुए नगर व क्षेत्र के गली मोहल्ले में भ्रमण करता था। परंतु इसे समाज का बदलाव ही कहा जा सकेगा कि आज सैकड़ों वर्षो के बाद पडने वाले इस सूर्य ग्रहण के

अवसर पर आज रविवार में नगर की गलियों में धर्म करो, धर्म करो का नारा लगाते बाल्मीकि समाज के लोग गोलियों में टोलियो के बजाय इक्का-दुक्का ही नजर आए। वही ग्रहण काल के दौरान गली मोहल्लों में महिलाएं एकजुट होकर धार्मिक गीतों के साथ सत्संग

करती भी कहीं नजर नहीं आई। अपितु ग्रहण काल में व्यक्तिगत तौर पर वस्त्र,अन्न एवं अर्थ का दान देकर सूर्य देवता पर आए संकट रूपी ग्रहण कॉल से मुक्ति के लिए प्रार्थना एवं दुआएं घर घर एवं हर वर्ग में जरूर की गई। और बाल्मीकि समाज के लोग टोलियो की बजाय इक्का-दुक्का रूप से ही धर्म करो , धर्म करो कर गली मोहल्ले में नजर आए।
प्रेम चंद वर्मा

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